RAIPUR : छ.ग. में पत्रकारों पर हुए फर्जी FIR की उच्च स्तरीय जांच के लिए उठी मांग।

राजधानी  यह सर्वविदित हैं कि, तत्कालीन सत्तारूढ़ कांग्रेस सरकार का कार्यकाल कितना दमनकारी रहा। इस सरकार के आलाकमान ने फ्री प्रेस का जो नारा दिया तो तात्कालीन मुखिया ने उसका उल्टा तात्पर्य निकाल प्रदेश को प्रेस फ्री करने में जुट गए और अपने शासनकाल में लगभग 200 पत्रकारों को तमाम तरह से प्रताड़ित कर उनके खिलाफ फर्जी एफआईआर दर्ज करवाने में और उसमे से अनेक पत्रकारों को जेल की सलाखों तक पहुँचाने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ी। उनमे से कुछ पत्रकार तो ऐसे भी हैं जिन्हें सालों तक जेल में रखा।

छ०ग० के पत्रकारों की सुरक्षा व न्याय के लिए आगे आए “विजय” व “अभिषेक”

चूँकि वर्ष 2018 में जैसे बदलाव की बहार थी, वही बयार 2023 के अंत में एक जादू सा चला और 72 पार का दावा ठोकने वाले कांग्रेस पार्टी 32 सीटों पर सिमट गई। चूँकि वर्तमान में भाजपा की सरकार सत्तानशीं है, तो अब इस (भाजपा) पार्टी को अपना पूर्ण समर्थन और बहुमूल्य योगदान देने वाली रिपब्लिकन पार्टी ऑफ़ इंडिया के राष्ट्रीय सचिव विजय प्रसाद गुप्ता एवं छत्तीसगढ़ प्रदेश प्रभारी अभिषेक वर्मा ने पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री (नरेंद्र मोदी मंत्रिमंडल), भारत सरकार, में मान० रामदास अठावले को एक लिखित आवेदन देकर राज्य में हुए पत्रकारों के साथ फर्जी एफआईआर के विषय में उच्च स्तरीय जांच की मांग की है।

आरपीआई के राष्ट्रीय सचिव सह छ.ग. प्रदेश प्रभारी ने लिखा
केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री को पत्र

 

पत्र के मजमून से ‘छत्तीसगढ़ प्रदेश में भूपेश बघेल जी के कांग्रेस सरकार में जो भय एवं आतंक का माहौल था, उसमें पत्रकारों पर झूठे मुकदमें और जानलेवा हमला हुआ है, यहां तक कि न्यायायिक अभिरक्षा तक में पत्रकारों पर जानलेवा हमला होता रहा है। पत्रकारों में कांग्रेस सरकार के कारण भय का माहौल लगातार व्याप्त होता रहा है।
छत्तीसगढ़ प्रदेश के क्रांतिकारी पत्रकारों में से सरगुजा से जितेंद्र कुमार जायसवाल तथा रायपुर के सुनील नामदेव पर झूठे मुकदमें गढ़े गए एवं इनकी जान को खतरा भी है, जितेंद्र कुमार जायसवाल पर तो 11 झूठे मुकदमें एवं न्यायिक अभिरक्षा में जानलेवा हमला सहित, जमानत से छूट के आने के बाद भी जानलेवा हमला हो चुका है परंतु पुलिस ने किसी भी जानलेवा हमले पर एफआईआर तक दर्ज नहीं किया है। चूंकि अब छत्तीसगढ़ में भारतीय जनता पार्टी की नवनियुक्त सरकार बन चुकी है।
“सबका साथ सबका विश्वास और भय मुक्त होगा प्रदेश का हर पत्रकार”
अतः महोदय से निवेदन है कि इस पत्र के साथ संलग्न पत्रकारों की सूची को ध्यान में रखकर इन्हें सुरक्षा प्रदान करने के साथ ही इनके विरुद्ध दर्ज सुनियोजित प्रकरणों पर उच्च स्तरीय जांच हेतु समिति गठित कर जांच उपरांत माननीय उच्च न्यायालय में शासन की ओर से सभी प्रकरणों पर हलफनामा दायर करने की अनुशंसा की जावे एवं उचित आर्थिक सहायता के साथ-साथ उक्त पत्रकारों को केंद्र व राज्य सरकार के हाथों सम्मानित कराना ही न्यायहित में होगा।

शिकायत पत्र में पीड़ित पत्रकारों की सूची इस प्रकार है…

  1. जितेंद्र कुमार जायसवाल, निवासी अंबिकापुर, छत्तीसगढ़ संपर्क +919424262547
  2. सुनील नामदेव, निवासी रायपुर, छत्तीसगढ़ संपर्क +919425602990
  3. स्व० सुशील शर्मा, कांकेर, छत्तीसगढ़ संपर्क +919425259049
  4. संजीत यादव, निवासी कुनकुरी, छत्तीसगढ़ संपर्क +919981442442
  5. शिव कुमार चौरसिया, निवासी वाड्रफनगर, बलरामपुर, छत्तीसगढ़ संपर्क +919340562093
  6. रौशन बघेल, निवासी कवर्धा, छत्तीसगढ़ संपर्क +919406213631
  7. रामहरी गुप्ता, निवासी वाड्रफनगर, बलरामपुर, छत्तीसगढ़ संपर्क +919713413980
  8. दिनेश सोनी, निवासी रायपुर, छत्तीसगढ़ संपर्क +918718947100
  9. किरीट ठक्कर, निवासी गरियाबंद, छत्तीसगढ़ संपर्क +917999184208
  10. निलेश शर्मा, निवासी रायपुर, छत्तीसगढ़ संपर्क +916260340228

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